माँग की कीमत लोच|Price Electricity of demand

 माँग की लोच से क्या अभिप्राय है ?

एक वस्तु की कीमत, उपभोक्ता की आय तथा संबंधित वस्तुओं की कीमत मे परिवर्तन होने से उस वस्तु की माँग की मात्रा में होने वाले परिवर्तन माप को माँग की लोच कहा जाएगा ।

माँग  की कीमत लोच को प्रभावित करने वाले कारक 

i) वस्तु कि प्रकृति 

ii) विभिन्न उपभोग 

iii ) उपभोक्ताओं की आदत 

iv ) कीमत स्तर 


   वस्तु कि प्रकृति 

अनिवार्य वस्तुओं जैसे- नमक, मिट्टी का तेल ,माचिस आदि की माँग लोचदार होती है। पूरक वस्तुओं; जैसे - ब्रेड तथा मक्का , कार तथा पेट्रोल आदि की माँग मध्यम माँग की लोच को दर्शाती है।

  

      विभिन्न उपभोग 

जिन वस्तुओं के विभिन्न उपयोग होते हैं उनकी माँग लोचदार होती है।

उदाहरण के लिए बिजली इसका प्रयोग रोशनी करने, कमरे को गर्म करने, खाना बनाने आदि कई कार्यों में किया जाता है। यदि बिजली कीमत बढ़ती है तो इसका प्रयोग केवल महत्वपूर्ण कार्य में होगा।

 उपभोक्ताओं की आदत 

उपभोक्ताओं को जिन वस्तुओं की आदत पड़ जाती है, उनकी माँग बेलोचदार होती है। 

उदाहरण के लिए सिगरेट तथा तंबाकू इन पर कितना भी अधिक कर लगाने पर इनकी माँग में कोई कमी नहीं होती है।

  कीमत स्तर 

माँग की लोच वस्तु के कीमत स्तर पर भी निर्भर करती है। वस्तु की कीमत के ऊँचे स्तर पर माँग की लोच अधिक होगी तथा कीमत के नीचे स्तर पर कम होगी।

    माँग की कीमत लोच का माप :